
यहां भर्ती प्रसव वाली महिलाओं के परिजनों से ना केवल चिकित्सकीय सामग्री मंगाई जा रही है वरन् साफ-सफाई इत्यादि के वस्त्रों की मांग भी की गई यह घोर अनियमितता की श्रेणी में आता है। इस संदर्भ में प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री व सिविल सर्जन को भी शिकायत की जाएगी। संकल्प जैन ने यह आपबीती स्वयं के द्वारा महसूस की जब वह गत दिवस अपनी पत्नि सुचिता जैन को प्रसव के लिए जिला चिकित्सालय में भर्ती करने पहुंचे तो यहां प्रसव के दौरान ऑपरेशन की स्थिति निर्मित हुई, ऑपरेशन के बाद जब टांके लगाने की बारी आई तो परिजनों से धागा मंगाया, इसके अतिरिक्त साफ-सफाई के कपड़े भी परिजनों द्वारा मंगाए गए।
यहां अन्य समस्याओं का उल्लेख करते हुए संकल्प जैन ने बताया कि ऑपरेशन उपरान्त मरीजों को वार्ड तक ले जाने के लिए दो अधेड़ महिलाऐं स्टे्रचर को संभाले है, मरीज को ऑपरेशन बाद अस्पताल प्रशासन की ओर से संक्रमण से बचने हेतु कोई वस्त्र भी नहीं दिए जाते, ऐसे में ठण्ड के मौसम में मरीजों को बचाव हेतु ना ही कंबल दिए जाते और घंटों ठण्ड से कंपकंपान के बाद उनकी सुध ली जाती है।
इसके अलावा वार्ड में चूहों व कॉकरोचों का अंबर लगा हुआ है, यहां रात भर जच्चा और बच्चा को चूहों और कॉकरोचों से बचाते रहें, जो कि नवजातों के लिए बहुत खतरनाक है। यहां इन समस्याओं को लेकर संकल्प जैन ने कहा कि एक पत्रकार के परिवार को जिला चिकित्सालय में इस तरह की समस्याओं से जूझना पड़ रहा है तो सामान्य परिजनों की क्या हालत होती यह आसानी से समझा जा सकता है, यहां संकल्प जैन ने जिला चिकित्सालय प्रबंधन से शीघ्र व्यवस्थाओं में सुधार की मांग की है अन्यथा विरोध दर्ज कराकर वह चिकित्सकीय प्रबंधन के खिलाफ मोर्चा खोलने को बाध्य होंगें।