
महिला का कथन है कि ट्रेक्टर मालिक प्रकाश लोधी ने आश्वासन दिया था कि वह उसके पति का पूरा इलाज कराएगा। इस आधार पर ट्रेक्टर दुर्घटना की पुलिस में रिपोर्ट भी दर्ज नहीं कराई गई। वहीं जिला अस्पताल के डॉ. एएल शर्मा ने 11 हजार रूपये लेने के बाद भी उसके पति का इलाज नहीं किया और वह पैसे लेने के बाद इंदौर चले गए। गंभीर हालत में उसके पति को डॉ. शर्मा ने इंदौर से आने के बाद ग्वालियर रैफर कर दिया, लेकिन सतनवाड़ा के निकट उसके पति की मृत्यु हो गई। महिला ने डॉ. शर्मा पर आपराधिक प्रकरण दर्ज करने की मांग की है।
जिला अस्पताल में रोती हुई मुकेश लोधी की पत्नी मीरा लोधी ने बताया कि वह ग्राम गणेशखेड़ा भौंती की निवासी है। उक्त ग्राम का प्रकाश लोधी अपने आयशर ट्रेक्टर क्रमांक 485 पर मजदूरी कराने के लिए उसके पति को 12 अक्टूबर को ले गया। ग्राम चनावनी के निकट टे्रक्टर चालक ने ट्रेक्टर को तेजी व लापरवाही से चलाया जिससे वह पलट गया और दुर्घटना में उसके पति की गर्दन एवं पसली एवं दोनों हाथों एवं पैरों में गंभीर चोटें आईं, लेकिन आज तक दुर्घटना की रिपोर्ट दर्ज नहीं हुई है।
उसके पति को बचाने के लिए उसने चार-पांच दिन पूर्व डॉ. एएल शर्मा को घर पर जाकर 11 हजार रूपये दिए, लेकिन उन्होंने कोई इलाज नहीं किया और वह इंदौर चले गए। इस दौरान उसके पति की हालत बहुत खराब हो गई तथा आज सुबह इंदौर से आने के बाद डॉ. शर्मा ने उसके पति को ग्वालियर रैफर कर दिया, परंतु रास्ते में ही उनकी मौत हो गई।
इनका कहना है
महिला का यह कहना कि मैंने उसके पति का इलाज करने के बहाने 11 हजार रूपये लिए थे सरासर गलत है। मैं तो चार दिन से इंदौर में था और आज ही लौटा हूं। आज आने के बाद जब मैंने मुकेश लोधी की हालत खराब देखी तो उसे ग्वालियर रैफर कर दिया। यह कहना कि मैंने पैसे लिए हैं और मेरी लापरवाही से मुकेश की मौत हुई है सरासर गलत है।
डॉ. अर्जुनलाल शर्मा
हड्डी रोग विशेषज्ञ जिला अस्पताल शिवपुरी