उचित मजदूरी मांगने पर कंट्रोल में दबंगों ने जड़ दिया ताला

शिवपुरी। एक ओर सरकार गरीब आदिवासियों को सस्ती दरों पर रसद मुहैया कराने के दावे कर रही है दूसरी ओर शिवपुरी जिले में हालात यह हैं कि दबंग इन गरीब आदिवासियों के राशन पर भी जोर आजमाइश करने से नहीं चूक रहे। शिवपुरी मुख्यालय के समीपस्थ ग्राम हातौद के आदिवासियों को राशन हाथीगढ़ा की राशन दुकान से मिलता है।

आज इस दुकान पर हातौद के उन दबंगों ने ताला डाल दिया जिनके यहाँ आदिवासी समुदाय के कम दर पर मजदूरी करने को राजी नहीं हुए। बताया जाता है कि आदिवासियों ने अपने शोषण के खिलाफ एकराय होते न्यूनतम मजदूरी की दरों पर वृद्घि का निर्णय लिया जिससे कुपित होकर हातौद के कुछ दबंग परिवारों ने मिलकर इन आदिवासियों के राशन को ही बैन करने का निर्णय ले डाला और राशन दुकान पर ताला जड़ दिया। 

आदिवासियों का आरोप है कि ऐसा इसलिए किया ताकि कम दर पर राशन उन्हें न मिल सके और मजबूरी में इन दबंगों की मनमानी रेट पर ये इनके खेतों में बंधुआ मजदूरी पर विवश हों। इस पूरे घटनाक्रम से क्षेत्र के ग्रामीणों में रोष की लहर दौड़ गई है, जिला प्रशासन के आला अधिकारियों को भी घटना की जानकारी दे दी गई, मौके पर देहात थाना पुलिस भी पहुंची मगर दबंगों की दबंगई के कारण दुकान फिर भी न खुल सकी। 

यह पूरा अब तूल पकड़ता दिखाई दे रहा है। ग्रामीणों ने पुलिस प्रशासन को पंचनामा सौंपा है जिसमें आदिवासियों को जातिगत तौर पर अपमानित किए जाने के आरोप भी लगाए गए हैं। देखना यह है कि प्रशासन सरकारी दुकान में तालाबंदी करने वाले दबंगों के खिलाफ क्या कुछ कार्यवाही करता है। यदि प्रशासन इस मुद्दे पर मौन रहा तो आने वाले समय में समूचे जिले में इस तरह की तालाबंदी दबंगों द्वारा जोर पकड़ सकती है।