युवा आक्रोश रैली: स्कूली बच्चों को लाईन में खडा किया, नाबालिगों ने चलाई बाईक

शिवपुरी। पूर्व केन्द्रीय मंत्री और स्थानीय सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया के मुख्य आतिथ्य में आज निकली युवा आक्रोश रैली निकाली गई। इस आक्रोश रैली में कांग्रेसियों का आक्रोश ज्यादा होने के कारण उन्होने नियमों का जमकर उल्लघंन किया गया। 

युवा आक्रोश रैली का शुभारंभ फिजीकल रोड़ स्थित भगवान परशुराम चौराहे से हुआ। भगवान परशुराम चौराहे पर सांसद सिंधिया खुली जीप में सवार हुए और उनके साथ-साथ कांग्रेस के वरिष्ठ कांग्रेसी सवार थे। सिंधिया की खुली जीप के पीछे युवा मोटर साईकिलों पर सवार थे। इसमे खास बात यह थी कि रैली में नाबालिग मोटर साईकिल चलाते दिखे और युवाओ के सिर से हेलमेट भी गायब था। कुल मिलाकर यातायात के नियमों की खुलकर धज्जियां उडाई। 

युवा आक्रोश रैली फिजीकल रोड़, बस स्टेण्ड रोड़, माधव चौक, गांधी चौक, कोर्ट रोड़, अस्पताल चौराहा पर खड़े हुए लोगों का हाथ जोडक़र तथा मुस्कराकर अभिवादन कर रहे थे। स्थान-स्थान पर उनका फूलमालाओं से स्वागत किया गया। 

युवा आक्रोश रैली तात्याटोपे स्टेडियम पहुंची जहां अपने उदबोधन में सिंधिया ने युवा शक्ति को प्रणाम किया और कहा कि यही शक्ति क्रांति तथा बदलाव लाने में समर्थ होती है। उन्होंने कहा कि आज भगवान शिव की नगरी तथा शहीद तात्याटोपे की नगरी शिवपुरी से नौजवानों की जो आवाज गूंजी है वह प्रदेश में सत्ता परिवर्तन का कारण बनेगी। उन्होंने कहा कि आज देश और प्रदेश में नौजवानों का बुरा हाल है। 

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर हमला बोलते हुए श्री सिंधिया ने कहा कि उन्होंने चुनाव के दौरान बायदा किया था कि उनकी सरकार हर वर्ष नौजवानों के लिए दो करोड़ रोजगार के अवसर देगी, लेकिन उनकी दो साल की सरकार में सिर्फ 4 लाख नौजवानों  को ही रोजगार मिला है। जोकि दो प्रतिशत से भी कम है। 

प्रधानमंत्री मोदी पर प्रहार करते हुए श्री सिंधिया ने कहा कि वह 56 इंच की छाती की बात करते हैं, लेकिन 56 इंच की छाती तो मेरे अन्नदाता किसान और नौजवानों की ही होती है। प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए श्री सिंधिया ने कहा कि प्रत्येक वर्ष ग्लोबल इन्वेंसटरमीट का आयोजन होता है और सरकार द्वारा 3 लाख करोड़ के एमओयू हस्ताक्षर किए जाने की बात करती है, लेकिन प्रदेश में आज तक कोई उद्योग नहीं खुला। 

सांसद  सिंधिया ने दु:ख व्यक्त किया कि उन्हें भाजपा सरकार द्वारा टारगेट किया जा रहा है, लेकिन वह यह बायदा करते हैं कि नौजवानों का साथ लेकर वह संसद से सडक़ तक यह लड़ाई लडेंगे और इस क्षेत्र के विकास में जो भी गति अवरोधक है उसे उखाड़ फैंकेगे। यदि युवा शक्ति संगठित रही तो 2018 में एक नये युग का शुभारंभ होगा। जिसमें महिलाओं, किसानों और  नौजवानों सहित समाज के सभी वर्गों का कल्याण होगा। इस युवा आक्रेाश रैली में स्कूली बच्चो को स्वागत के लिए घंटो खडा करने की खबरे भी आ रही है।