पुलिसिया पिटाई से मौत के मामले में जांच की अवधि बढ़ाई

शिवपुरी। बैराड़ थाना पुलिस की पिटाई से 16 अप्रैल को हुई दलित की मौत के मामले की जांच अब 8 दिन की जगह दो सप्ताह में पूरी करनी होगी। जांच अधिकारी एडीशनल एसपी आलोक कुमार ने सोमवार को मेले में मौजूद रहे दो दर्जन ग्रामीणों के बयान लिए। इस केस में पुलिस के साथ गांव का चौकीदार भी उलझता लग रहा है।


गौरतलब है कि 16 अप्रैल को हनुमान जयंती पर केला वाले हनुमान मंदिर पर भरे मेले में विजय जाटव ने शराब पीकर हंगामा किया था। जिसकी सूचना गांव के चौकीदार सोहन सिंह पुत्र हजारीलाल परिहार ने पुलिस को सूचना दी। बैराड़ थाने में पदस्थ एएसआई महेंद्रपाल सिंह चंदेल मौके पर पहुंचे और विजय को पकड़कर साथ ले गए। रात में विजय को गंभीर हालत में बैराड़ अस्पताल के बाहर से परिजन चार पहिए के ठेले में उठाकर लाए थे। अगले दिन सुबह जिला अस्पताल में विजय ने दम तोड़ दिया था।

विजय की मौत के बाद आनन.फानन में बैराड़ पुलिस ने चौकीदार की रिपोर्ट पर गांव के 6 युवकों पर हत्या का मामला दर्ज कर लिया। मृतक के परिजन व आक्रोशित ग्रामीणों ने आधी रात तक थाने के सामने लाश रखकर प्रदर्शन किया तो एसपी ने तीन पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया था। साथ ही आश्वासन दिया था कि आठ दिन में जांच पूरी की जाएगी।

शिवपुरी सामाचार डॉट कॉम के सवाल
मृतक के परिजन हैं तो फिर पुलिस ने चौकीदार को फरियादी क्यों बनाया, चौकीदार ने जो नाम बताए उनकी तस्दीक किए बिना ही हत्या जैसा संगीन मामला दर्ज क्यों कर लिया।
मेले में सैकड़ों लोगों के सामने विजय को पुलिस पकड़कर ले गई तो फिर उसकी हत्या गांव के 6 लोगो ने कहां और क्यो कर दी, पुलिस ने मृतक को थाने में से कब छोड दिया था।
मृतक की पत्नी ने पुलिस पर अपने पति को पीटने के आरोप लगाए तो फिर ग्रामीणों को आरोपी क्यों बनाया।

मामले की जांच चल रही है और मेले में मौजूद रहे दो दर्जन ग्रामीणों के बयान लिए हैं। पहले 8 दिन में जांच का आदेश थाए लेकिन अब दो सप्ताह का समय दिया गया है। सभी दृष्टिकोण से जांच की जा रही है।
आलोक कुमार
एडीशनल एसपी शिवपुरी