लिपिक कर्मचारी पुन: आंदोलन की राह पर

शिवपुरी। राज्य शासन द्वारा लिपिक वर्गीय कर्मचारियों की सन 1989 से चली आ रही दिनांक 1.1.1972 (पाण्डे वेतनमान) को आधार मानक 1.4.1981 (चौधरी वेतनमान) व  उसके आगे के वेतनमानों में लिपिकों के वेतनमानों की विखण्डित सापेक्षता बहाल करने की मांग को नहीं माना जाकर वर्षों से लिपिकों का आर्थिक शोषण किया जा रहा है,
जबकि लिपिक वर्ग द्वारना अपनी इस इकलौती मांग मनवाने हेतु संघषपूर्ण आंदोलन के माध्यम से शासन से आग्रह किया गया। इस क्रम में धरना प्रदर्शन क्रमिक अनशन एवं अनिश्चित काली हड़ताल आदि आंदोलनों के माध्यम से निरंतर शासन का ध्यान आकर्षित किया गया, लेकिन आज भी लिपिक वर्ग की उचित मांग पर कोई कार्यवाही नहीं की गई। इन सभी कारणों से लिपिक वर्ग द्वारा पुन: आंदोलन करने का निर्णय लिया है जिसके क्रम में 26 एवं 27 अगस्त को काली पट्टी लगाकर विरोध प्रदर्शन, 3 नव बर को वाहन रैली, 4 एवं 5 नव बर को कलम बंद हड़ताल, 8 नव बर को क्रमिक भूख हड़ताल धरना, 14 नव बर को आमरण अनशन किया जायेगा।