नरेन्द्र सिंह के चुनाव समिति के अध्यक्ष बनने से विधायक प्रहलाद भारती संकट में

0
शिवपुरी। जैसा कि विदित है कि केन्द्रीय मंत्री और ग्वालियर के सांसद नरेन्द्र सिह तोमर के चुनाव समिति के अध्यक्ष बनने से जिले में सबसे ज्यादा असर पोहरी की राजनीति पर हो सकता है। संभावनाओ और राजनीतिक पंडितो की माने तो पोहरी के विधायक प्रहलाद भारती का भविष्य संकट में आ गया है। पोहरी विधानसभा ग्वालियर संसदीय क्षेत्र में आती है। इस लोकसभा चुनाव में पोहरी विधानसभा सीट से नरेन्द्र सिहं तोमर चुनाव उस स्थिती में हार गए थे जब पोहरी के विधायक प्रहलाद भारती भाजपा से है। प्रहलाद भारती पिछले 2 बार से विधायक है। 

प्रहलाद भारती यशोधरा खेमे से आते है और वह यशोधरा निष्ठ है। विधायक प्रहलाद भारती भाजपा की ओर से टिकिट के प्रबल दोवदार माने जाते है। नरेन्द्र सिंह तोमर पोहरी विधानसभा से लगभग 18 हजार वोटो से हारे थे। राजनितिक पंडितो का कहना है कि नरेन्द्र सिंह को धाकड मतदाताओ ने मतदान नही किया। विधायक महोदय ने यहां सिर्फ रस्म अदायगी की थी। 

वही बताया जा रहा है कि भाजपा के अंदरूनी सर्वे में भी प्रहलाद भारती की स्थिती ठीकठाक नही है,इस बार जो पोहरी के मतदाताओ का मूड है कि वे धाकड प्रत्याशी के खिलाफ मतदान कर सकते है प्रत्याशी चाहे किसी भी दल का हो। यह दोनो बात ही प्रहलाद भारती के आगामी भविष्य को संकट में डाल रही है। 

प्रहलाद भारती के सामने धाकड समाज से पोहरी विधानसभा से भाजपा की ओर से ग्वालियर की सलौनी सिंह धाकड एक मजबूत दावेदार मानी जा रही है। बताया जा रहा है कि नरेन्द्र सिंह तोमर के पोहरी के हर दौरे पर सलौनी सिंह धाकड होती है। बैनर पोस्टरो में भी सलौनी सिंह सबसे ज्यादा दिखाई देती है। 

सलोनी सिंह भाजपा नेता डॉ गुलाब सिंह पूर्व राज्य मंत्री दर्जा प्राप्त की भतीजी और ग्वालियर के सरकारी हॉस्पिटल में पदस्थ आरके धाकड की पत्नि है और उनकी कई सारी रिश्तेदारी भी पोहरी विधानसभा में है। समय-समय पर पोहरी विधानसभा में स्वास्थय शिविर लगाकर चर्चा में बनी रहती है। 

प्रहलाद भारती के सामने पोहरी से टिकिट  की ब्राहम्मणो में मजबूत दावेदार नरेन्द्र बिरथरे और विवेक पालीवाल का नाम आता है। नरेन्द्र बिरथरे उमाभारती के प्रबल समर्थक है और विवेक पालीवाल संगठन में राष्ट्रीय स्तर पर पकड रखते है। 

कुल मिलाकर नरेन्द्र सिंह तोमर के चुनाव समिति के अध्यक्ष बनने से विधायक प्रहलाद भारती के टिकिट पर संकट के बादल मडराने लगे है। वैसे तो राजीनिति में कुछ भी नही कहा जा सकता लेकिन संभावनाओ से इंकार भी नही किया जा सकता है। 
Tags

Post a Comment

0Comments

Please Select Embedded Mode To show the Comment System.*

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!