
जानकारी के अनुसार आज शिवपुरी से ग्वालियर चलने वाली यादव बस शिवपुरी से सवारियों को लेकर ग्वालियर की ओर जा रही थी। तभी 18वीं बटालियन के पास डीपीसी अपनी कार से पहॅुचे और पुरे गुण्डागर्दी वाले अंदाज में बस को रोक सवारियों को चेक करने लगे। जब सवारियों ने पूछा की किस बात की चेकिंग कर रहे है।
डीपीसी ने कहा कि वह अपने शिक्षकों की चेंकिग कर रहे है। इस पर सवारियों ने कहा कि अगर शिक्षकों की चेकिंग करना है तो वह स्कूलों पर जाये। इस बात की शिकायत बस के स्टाफ ने बस के मालिक रिटायर दरोगा रणवीर सिंह यादव से की तो वह भी मौके पर पहुॅचे।
मौके पर बस मालिक और डीपीसी के बीच तीखी नौंक-झौक के साथ गाली गलौच की भी खबर आ रही है। उसके बाद बस मालिक ने बस को रवाना करवा दिया। डीपीसी ने अपना धमक बस मालिक पर जमाने के लिए उक्त बस को सुभाषपुरा थाने में खडी करवा दिया। वहां बताया गया है कि पुलिस ने इस घटना की पूछताछ सवारियों से की है। बताया जा रहा है कि वहां सवारिया पुलिस पर भडक गई तब जाकर सुभाषपुरा पुलिस ने उक्त बस को वहां से जाने दिया।
बस मालिक खबर लिखे जाने तक सतनवाडा थाने में डीपीसी के खिलाफ मामला दर्ज कराने के लिए थाने में बैठे थे। शिवपुरी समाचार डॉट कॉम से बातचीत में रिटायर्ड एसआई रणवीर यादव ने कहा कि मै सवारियो की शिकायत पर वहां पहुंचा था। डीपीसी बस को रोककर यात्रियो को लेट कर रहे थे। मेरे पूछने पर वह भडक गए और मुझसे कहने लगे कि तुम मेरी हैसियत नही जानते मैं सघं का आदमी हूॅ, और मेरी साथ गाली गलौच करते हुए अभद्रता कर दी।
इस काण्ड पर सवाल उठ रहे है कि कोई भी अधिकार जिसे चलती बस को रोकने का अधिकार नही है उसने बस कैसे रोकी, उसके बाद इस अधिकारी के कहने पर सुभाषपुरा पुलिस ने बस को कैसे रोका।
इस मामले मे सतनवाडा थाना प्रभारी जय सिंह यादव से बात की गई तो बताया कि मामले के संबंध में सवारियों से पूछताछ के लिये बस को खड़ा कराया गया था। जहॉ यात्रियों के बयान लेने के बाद बस को रवाना कर दिया गया है। बस मालिक रणवीर यादव अपने साथ हुई अभद्रता एवं गालीगलौंच को लेकर व्यथित है और वे डीपीसी के खिलाफ मामला दर्ज करने पर अड़े है।