शिवपुरी। जिले की करैरा तहसील के अंतर्गत अमोल गांव के निवासी दयाराम पुत्र सुखलाल बरहार की झोंपड़ी में पिछले पखवाड़े में आग लगी थी और उस आग के दौरान उसका घर गृहस्थी के सामान के साथ में 20 हजार रूपये जो उसे कुटीर बनाने के लिए सरकार की तरफ से स्वीकृत हुआ था वह नगदी था और 20 हजार रूपये बकौल दयाराम उसके परिवार के रखे थे।
यह 40 हजार रूपये उसके जलकर स्वाह हो गए। घटना के संबंध में कलेक्टर शिवपुरी को दयाराम ने आवेदन भी दिया था जिसमें शिवपुरी कलेक्टर ने तहसीलदार करैरा को 24 सितम्बर को निर्देशित किया कि जांच करके नियमानुसार कार्रवाई की जाए।
तहसीलदार करैरा ने भी 26 तारीख को ही हल्का पटवारी को जांच रिपोर्ट बनाने के लिए कहा है लेकिन आज दिनांक तक उसकी कोई जांच रिपोर्ट पटवारी के द्वारा नहीं दी गई है इस कारण उसे किसी भी तरह की आर्थिक सहायता नहीं मिल पाई है और वह दर-दर की ठोकर खा रहा है। घटना के बाद तहसील में पदस्थ एक बाबू व हल्का पटवारी ने उससे प्रमाणीकरण बनवाने व खाता खुलवाने की बात कही थी।
दयाराम के द्वारा ग्राम पंचायत आमोलपठा की सरपंच सावित्री से प्रमाणीकरण भी बनवा लिया है जिसमें इस बात का उल्लेख है कि दयाराम की झोंपड़ी अग्निकाण्ड के कारण जलकर नष्ट हो गई है और उसने अपना एक खाता भी खोल लिया है लेकिन पटवारी की हठधर्मिता के कारण रिपोर्ट न लगाने से दयाराम दर-दर की ठोकर खा रहा है। ग्राम पंचायत की सरपंच ने उसके अधजले सामान को आंगनबाडी केन्द्र में रखवा दिया था अब वहां से भी उसका सामान फिकवा दिया गया है और वह परेशन हालत में है।