कोलारस में बारिश से दर्जनों भवन ढहे, बाढ़ ही बाढ़ के नजारे दिखे

शिवपुरी/कोलारस. जिले में इन दिनों इन्द्रदेव की मेहरबानी से कहीं लोगों को राहत मिली है तो कहीं लोगों को आफत मिली है। जिले के कोलारस क्षेत्र में इन्द्रा कॉलोनी में सोमवार को अलसुबह से देर रात्रि तक हुई बारिश का प्रभाव ऐसा रहा कि यहां बने हुए कच्चे मकान इस बारिश में ढह गए और दर्जनों बने-बनाए मकान बारिश से ढहकर गिर गए। यहां ग्राम मोहरा में भी यही हालात देखने को मिले जहां ग्रामीणजनों की पाटौर व झोंपड़ी बारिश में गिरकर ध्वस्त हो गई। इन परिवारों को अब रहने के लिए जगह नहीं बची और खुला आसमान ही इनका आसरा बचा है। पीडि़त परिवारों ने प्रशासन से आर्थिक सहयोग की मांग की है।

यहां बता दें कि जिले के कोलारस क्षेत्र में बीते लंबे समय से लोगों को बारिश का इंतजार था लेकिन जब यह इंतजार खत्म हुआ तो यहां कहर बरस गया। यहां सोमवार को हुई बारिश से कोलारस के आसपास क्षेत्र में पानी भर जाने से यहां कई बस्तियां जलमग्न होती नजर आई। इस बारिश से कोलारस ही नहीं बल्कि आसपास के अन्य ग्रामों में भी बाढ़ जैसे हालात देखने को मिले। बारिश का सर्वाधिक प्रभाव इन्द्रा कॉलोनी में देखने को मिला। यहां दर्जनों घर बारिश के बहाव में आकर ढह गए जिससे कई परिवार सड़कों पर आ गए। 

उनके घर में अंदर रखा सामान बारिश के पानी में तैरता नजर आया। यहां निवास करने वाले मुंशी यादव, राजू प्रजापति, पप्पू खान, रामहेत रजक, रघुवीर धाकड़, जगदीश, पवन, राजमल, जगदीश कुशवाह शीतला माता मंदिर, विष्णु सेन, कैलाश सिकरवार सभी निवासी इन्द्रा कॉलोनी के घर बारिश से ढग गए। चूंकि यहां कई घर कच्चे और मिट्टी के बने हुए थे तो वह बारिश का प्रभाव झेल ना सके और भर-भराकर गिर गए। यहां किसी प्रकार की जनहानि तो नहीं हुई पर सर्वाधिक नुकसान भी इसी क्षेत्र में देखने को मिला। 

साथ ही कोलारस में पुरानी बस्ती में भी यही हालत निर्मित हुए यहां बाढ़ जैसी स्थिति देखने को मिली। कोलारस में ही मालवा शिक्षण संस्थान में बारिश से भरे हुए पानी ने बच्चों को स्कूल में प्रवेश करने से रोका और पूरे विद्यालय में कीचड़ी ही कीचड़ व्याप्त है। वहीं कोलारस व सरजापुर के बीच के मार्ग से आवागमन अवरूद्ध हुआ यहां पर एक पुलिया बनी थी जिससे लोगों को इस पुलिया को पार करने में मुश्किल हो रही है और गहरे-गहरे गढ्ढों होने के कारण यहां स्थिति बद से बदतर है। इस तरह देखा जाए तो पूरे कोलारस में स्थिति खराब है। लोगों ने जिला प्रशासन से इस ओर आर्थिक सहयोग की मांग की है ताकि वह पुन: अपना आशियाना बनाऐं और रह सके।