
उसके बाद रात्रि में किशोर के पिता चन्द्रभान पाल ने बताया कि इसके फोन पर धमकी भरा मेसेज आया है कि उनका लडक़ा उनके कब्जे में है। अगर लडक़े को सलामत चाहते हो तो 20 लाख रूपए की फिरोती दो। उसके बाद चन्द्रभान तत्काल पुलिस के पास पहुंचे। और पूरे मामले की जानकरी पुलिस को दी। थाना प्रभारी ने तत्काल पुलिस अधीक्षक को उक्त अपराध के संबंध में बताया।
पुलिस अधीक्षक द्वारा इस मामले को गंभीरता से लेते हुए अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक एवं एस.डी.ओ.पी. करैरा को अपहृत व्यक्ति की तलाश एवं आरोपियों की तलाश हेतु आदेशित किया गया एवं एस.डी.ओ.पी. करैरा श्री तिवारी के नेतृत्व में थाना प्रभारी दिनारा संतोष सिंह यादव एवं थाना प्रभारी सुरवाया रविंद्र सिंह सिकरवार एवं थाना प्रभारी अमोला गोपाल चौबे को उक्त अपहरणकर्ता एवं अपहृत की तलाशी हेतु टीम का गठन किया तथा ये टीमें दतिया, झांसी, ग्वालियर भेजी गई।
पुलिस ने सीसीटीव्ही फुटैज के आधार पर मोबाइल की लोकेशन ट्रेस की। जिसपर पुलिस को पता चला कि ग्राम दबरा के जंगल में कुछ लोग संदिग्ध रूप से घूम रहे है। जिसपर पुलिस की टीम ने पहुंचकर देखा तो दो युवक मासूम को पेड़ से बांधकर बैठे हुए है। पुलिस ने घेराबंदी कर आरोपीयों को दबौच लिया। पकड़े गए आरोपीयों में एक आरोपी नाबालिग है जो कि दतिया का निवासी है। जबकि दूसरा आरोपी पुनीत अहिरवार निवासी झांसी है। इन आरोपीयों के कब्जे से पुलिस ने एक 315 वोर का लोडेड कट्टा और चार जिंदा राउंड भी बरामद किए है। इस अपहरण की गुत्थी सुलझााने के लिए पुलिस अधीक्षक द्वारा टीम को पुरस्कृत करने की घोषणा की गई।
आरोपी समझ रहे थे कि बैरियल पर पर्ची काटने बाले का लडक़ा है अच्छी फिरोती मिलेगी
इस बारदात को अंजाम देने बाले आरोपीयों ने पुलिस को बताया है कि वह बीते कई दिनों से इस किशोर की रैकी कर रह थे। जिस पर पता चला कि उक्त युवक रक्सा बैरियल पर पर्ची काटने बाले का लडक़ा है। जिसपर आरोपीयों ने 20 लाख रूपए की फिरौती मांगी। यह फिरौती आरोपीयों ने SMS के माध्यम से मांगी। पर यह भूल गए कि मोबाईल से अपराध करना ज्यादा देर तक छुपता नहीं है।