2003 के चुनाव में जनता ने उमा भारती को जिताया नहीं अपितु दिग्विजय सिंह को हराया था: केपी सिंह

शिवपुरी। जिले के पिछोर विधानसभा से कांग्रेस के विधायक और क्षेत्र के दिग्गज कांग्रेसी नेता केपी सिंह कक्काजू ने आज अपने दिल की बाद प्रेस वार्ता के माध्यम से की। जहां उन्होंने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह पर निशाना साधते हुए जमकर निशाना साधा। 

2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस आलाकमान को तय करना है कि पार्टी परम्परागत रूप से सामूहिक नेतृत्व के आधार पर चुनाव लड़े अथवा मुख्यमंत्री पद का प्रत्याशी घोषित कर चुनाव मैदान में उतरे, लेकिन यदि ज्योतिरादित्य सिंधिया प्रदेश के मुख्यमंत्री बने तो मुझे सर्वाधिक खुशी होगी, क्योंकि उनके मुख्यमंत्री बनने से मेरे विधानसभा क्षेत्र सहित शिवपुरी जिले का सर्वांगीण विकास होगा। 

उक्त बात प्रदेश के पूर्व मंत्री और पिछोर विधायक केपी सिंह ने आज अपने निवास स्थान पर आयोजित पत्रकारवार्ता में कही। पत्रकारवार्ता में उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि कांग्रेस कोलारस और मुंगावली विधानसभा उपचुनाव में आसानी से विजयश्री हासिल करेगी। 

पत्रकारवार्ता में विधायक केपी सिंह ने कहा कि जनता भाजपा सरकार से निराश हो चुकी है और 2018 में कांग्रेस की जीत में कोई संदेह नहीं है। भले ही सामूहिक नेतृत्व के आधार पर चुनाव लड़ा जाए अथवा किसी को मुख्यमंत्री पद का प्रत्याशी घोषित किया जाए। कांग्रेस में मुख्यमंत्री पद का दावेदार कौन होगा? इस सवाल पर श्री सिंह ने मुख्य रूप से वरिष्ठ कांग्रेस नेता कमलनाथ, पार्टी के युवा चेहरे ज्योतिरादित्य सिंधिया तथा नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह का नाम लिया तथा तीनों की विशेषताएं भी गिनाईं। 

उन्होंने कहा कि कमलनाथ पार्टी के सबसे वरिष्ठ और अनुभव नेता हैं। जबलपुर संभाग में उनका बहुत प्रभाव है तथा उनकी स्वीकार्यता सर्वाधिक है, लेकिन वह राजनैतिक रूप से सेवानिवृति की कगार पर हैं। सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया पार्टी के युवा और जोशपूर्ण नेता हैं। उन्हें प्रत्याशी घोषित करने से कांग्रेस को ग्वालियर संभाग में लाभ मिलेगा। 

जबकि नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह 6 बार के विधायक हैं और हिमाचल में तो तीन बार के विधायक जयराम ठाकुर मुख्यमंत्री बन चुके हैं। जब उनसे पूछा गया कि इन तीनों में वह किसकी उम्मीदवारी का समर्थन करते हैं तो उनका जवाब था कि यह निर्णय लेने का अधिकार पार्टी आलाकमान का है। 

हर निर्णय के अपने अपने फायदे और नुकसान होते हैं तथा चुनाव परिणाम तय करते हैं कि लिया गया निर्णय ठीक था या नहीं, लेकिन सांसद सिंधिया के मुख्यमंत्री बनने से विकास की दृष्टि से इस क्षेत्र को फायदा होगा। बहरहाल कांग्रेस मुख्यमंत्री पद का प्रत्याशी घोषित करे अथवा न करे, लेकिन यह तय है कि 2018 में प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बनेगी। 

2003 में जनता ने उमा भारती को नहीं दिग्विजय सिंह को हराया था
एक सवाल के जवाब में विधायक केपी सिंह ने कहा कि 2003 के चुनाव में भारतीय जनता पार्टी की जीत उमा भारती के नेतृत्व के कारण नहीं मिली थी बल्कि उस चुनाव में जनता ने उमा भारती को नहीं जिताया था वरन उस समय के मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह को हराया था। 

विधायक सिंह ने मुख्यमंत्री को लिया निशाने पर 
पत्रकारवार्ता में विधायक केपी सिंह ने मुख्यमंंत्री शिवराज सिंह चौहान को निशाने पर लेते हुए कहा कि वह कोलारस और मुंगावली उपचुनाव जीतने के लिए झूठी घोषणाएं कर रहे हैं। शिवपुरी उपचुनाव के पूर्व मुख्यमंंत्री ने 140 घोषणाएं की थीं जिनमें से मुश्किल से 10 प्रतिशत भी पूरी नहीं हुईं। आदिवासी परिवारों को प्रतिमाह 1-1 हजार रूपए दिए जाने की घोषणा पर सवाल खड़े करते हुए श्री सिंह ने कहा कि कोलारस के अलावा कहीं भी आदिवासी महिलाओं के खाते में यह राशि नहीं आई। 

इससे स्पष्ट है कि मुख्यमंत्री की घोषण सिर्फ उपचुनाव तक हैं। आदिवासी वर्ग के वोट कबाडऩे के लिए यह घोषणा की गई है। उन्होंने संभावना जाहिर की कि चित्रकूट के बाद मुख्यमंत्री कोलारस और मुंगावली उपचुनाव भी हारे तो उन्हें मुख्यमंत्री पद से हटाया जा सकता है। इसीलिये वह भ्रामक घोषणाएं कर रहे हैं, लेकिन जनता को मूर्ख नहीं बनाया जा सकता।