नेतराम हत्याकांड पर कांग्रेस ने कहा: नरोत्तम के दवाब में आत्महत्या बता रही है पुलिस

भोपाल। प्रदेश कांगे्रस के मीडिया विभाग के अध्यक्ष मानक अग्रवाल ने कहा है कि भाजपा राज में पुलिस भी अब उलटी चाल चलने लगी है। जो अपराध पहले केवल पेशेवर अपराधी ही किया करते थे, अब वे ही अपराध बेखौफ होकर पुलिस वाले करने लगे हैं।

इन अपराधों में बलात्कार से लेकर हत्या तक के प्रकरण शामिल हैं। आर्थिक अपराध तो अब पुलिस वालों के लिए मामूली बात हो गई है। ‘‘जनसेवा’’ अब उनके लिए बेमानी बन चुकी है। हालात कुछ ऐसे बन गए हैं कि एक बार पुलिस थाने की हवालात में पहुंचा व्यक्ति जिंदा बाहर निकलेगा, इसकी अब कोई गारंटी नहीं रह गई है।

आपने कहा है कि दतिया में नेतराम नामक व्यक्ति की संदिग्ध अवस्था में मौत हो गई। खबर है कि नेतराम के साथ थाने में पुलिसकर्मियों द्वारा इतनी सांघातिक मारपीट की गई थी कि वह जिंदा नहीं बच सका। उसके शरीर पर मारपीट के 20 निषान पोस्टमार्टम में उजागर हुए हैं। पुलिस वालों द्वारा की गई मारपीट से हुई मृत्यु के इस मामले को स्वास्थ्य मंत्री नरोत्तम मिश्रा के दबाव के कारण आत्महत्या साबित किये जाने की कोशिश पुलिस द्वारा की जा रही है।

श्री अग्रवाल ने कहा है कि नेतराम की हत्या को किसी भी तरह आत्महत्या सिद्ध करने के प्रयास किये जा रहे हैं। उसके लिए जहां एक ओर नेतराम का कोई कथित सुसाइड नोट प्रचारित किया जा रहा है-वहीं दूसरी ओर दतिया के सरकारी अस्पताल में नेतराम के शव के पोस्टमार्टम की रिपोर्ट में यह निष्कर्ष दर्ज कराया गया है कि उसके शरीर पर चोट के निषान नहीं थे, जबकि नेतराम का जो पोस्टमार्टम जयारोग अस्पताल, ग्वालियर में कराया गया है, उसमें मृतक के शरीर पर 20 चोटों के निषान पाये गए हैं। नेतराम की मौत निष्चित ही इन्ही प्राणलेवा चोटों के कारण हुई है।

कांगे्रस के मीडिया प्रमुख ने नेतराम की संदिग्ध मौत की उच्च स्तरीय जांच कराने तथा दोषी पुलिस कर्मियों के विरूद्व हत्या का प्रकरण दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार करने की मांग की है।
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