अपहृत बालिका उरई से बरामद, पुलिस पर आरोपियों को संरक्षण के आरोप

शिवपुरी-बीती 17 फरवरी को मेरी पुत्री शाहिना(परिवर्तित नाम)का अपहरण उरई निवासी खालिद खां ने किया था और तब से लेकर मेरी पुत्री गायब थी जब पुलिस में शिकायत की तो पुलिस ने काफी देर बाद मेरी शिकायत लिखी और जब मेरी पुत्री को ढूंढा तो आखिर वह उरई से ही बरामद हुई।

मेरी पुत्री के साथ खालिद ने बलात्कार किया है और वह अभी केवल 15 वर्ष की है लेकिन कोई मेरी सुनवाई नहीं सुन रहा, पुलिस अधीक्षक से यही गुहार है कि आरोपी खालिद व उसे संरक्षण देने वाले पुलिस वालों पर कार्यवाही करें। यह व्यथा जिले के खनियांधाना निवासी विधवा महिला श्रीमती अफसाना पत्नि शहजाद खां ने गत दिवस पुलिस अधीक्षक आरपी सिंह को ज्ञापन देकर सुनाई। जहां उसने खुले रूप से पुलिसकर्मियों पर ही आरोपी को संरक्षण देने के आरोप लगाए।

विधवा महिला का कहना है कि उसकी अपहृत पुत्री की बरामदगी के बाद भी पुलिस ने आरोपियों पर कोई मामला कायम नहीं किया है तथा उसकी नाबालिग पुत्री को पुलिस बालिग बता रही है। खनियांधाना पुलिस का कहना है कि युवती की उम्र का परिक्षण कराया जा रहा है और इसके बाद ही इस मामले में कोई कार्रवाई होगी। 

श्रीमती अफसाना बेगम ने एसपी को प्रषित ज्ञापन में बताया है कि उसकी नाबालिग पुत्री शाहिना (परिवर्तित नाम) का अपहरण उरई निवासी खालिद खां ने 17 फरवरी को कर लिया था। पुलिस में इस मामले की रिपोर्ट दर्ज कराई गई, लेकिन पुलिस ने मात्र गुमशुदगी का मामला कायम किया और 22 फरवरी को उसकी पुत्री को आरोपी के उरई स्थित घर से बरामद किया गया। 

उसकी पुत्री के साथ आरोपी ने बलात्कार किया था, लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की और यह तर्क दिया कि सहीदा बालिग है तथा उसने अपनी मर्जी से खालिद के साथ निकाह कर लिया है। जबकि उसकी पुत्री की उम्र मात्र 15 वर्ष है। उसके अनुसार डॉक्टरों ने भी परिक्षण में सहीदा को नाबालिग बताया है। लेकिन खनियांधाना पुलिस का कहना है कि अभी डॉक्टरी रिपोर्ट प्राप्त नहीं हुई है। पुलिस मामले की विवेचना कर रही है। वहीं पुलिस अधीक्षक ने भी मामले को गंभीरता से लिया है और पीडि़ता को आश्वस्त किया है कि वह दोषियों को बख्शेंगें नहीं और न्यायोचित कार्यवाही ही की जाएगी।