उन्होंने लिफ्ट दी और न जाने कहां ले गए........

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शिवपुरी। जिले के पिछोर क्षेत्र में बीते लगभग छ: माह से आए दिन बलात्कार की घटनाओं में लगातार बढ़ोत्तरी होती जा रही है। यहां पुलिस का खौफ अपराधियों में बिल्कुल देखने को नहीं मिल रहा जिसका परिणाम है कि आज भी अपराधी बेखौफ होकर मासूम बालिकाओं व नव विवाहितों के साथ जबरन बलात्कार की घटनाओं को कारित कर रह है। पुलिस की निष्क्रिय प्रणाली की यह खुली नजीर है कि यहां महीना दो महीने में कम से एक या अधिक बलात्कार की घटनाऐं घटित होती है। इस ओर पुलिस का अभियान भी सुस्त गति से है जहां यह घटनाऐं अंजाम देना इसी का परिणाम नजर आता है।

जानकारी के अनुसार पिछोर थानांतर्गत ग्राम बनोटा निवासी धनीराम लोधी की पत्नी सुशीला(परिवर्तित नाम) उम्र 22 वर्ष जो गत 25 मई को अपने घर से इलाज कराने का कहकर गई थी। परन्तु घर लौटकर वापस नहीं आई तो सुशीला के पति ने पुलिस थाना में गुमसुदा होने की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। तब से पुलिस छानवीन में लगी थी। सुराग लगते ही पुलिस ने सुशीला को खनियाधाना क्षेत्र के गूडर रोड से बरामद किया। 
 
पूछताछ के दौरान सुशीला ने बताया कि पिछोर के डांकवंगला चौराहे पर आरोपी नवलसिंह पुत्र वाघराज लोधी उम्र 27 वर्ष, फूलसिंह पुत्र सीताराम लोधी उम्र 20 वर्ष एवं रामकुमार पुत्र प्रीतम लोधी उम्र 19 वर्ष मिले एवं घर जाने के लिये कहा। मैं जब जाने को तैयार हुई तो वह मोटरसाइकल पर बैठाकर मुझे अन्यत्र कहीं ले गये। आरोपीगणों ने पीडित महिला को कई दिनों तक अज्ञात स्थान पर रखा और बारी बारी से लगातार बलात्कार करते रहे। बमुश्किल सुशीला आरोपियों से चंगुल से छूटकर भाग सकी। महिला की आपबीती सुनने के पश्चात पुलिस ने सक्रियता दिखाते हुये आरोपियों की छानवीन करते हुये उन्हें धर दबोचा। 
 
पिछोर पुलिस प्रभारी टीआई एसआई आरवीएस भदौरिया, आरक्षक प्रतिपालसिंह, बृजेश दुवे एवं राजेश सेंगर ने मुख्य भूमिका निभाते हुये आरोपियों के खिलाफ धारा 376 (2जी), 342, 366 आईपीसी एक्ट के तहत प्रकरण पंजीवद्ध किया।

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