युवक बहा: एसडीओपी ने खबर को झूठा बताया तो एसपी ने खबर पर मोहर लगाई

शिवपुरी। जिले मेंं हो रही लगातार तेज बारिश के कारण जिले के नदी नाले उफान मार रहे है। छर्च थाने क्षेत्र के बिलौआ के उफनते रपटे के तेज बहाब में एक 33 वर्षीय युवक बालकृष्ण बहा गया और इस घटना को एसपी शिवपुरी ने स्वीकार किया है वही पोहरी एसडीओपी पोहरी ने इस खबर का खंडन किया है कि कोई युवक नाले में नही बहा है। पानी में बहे युवक बालकृष्ण के भतीजे ने इस मामले की पुष्टि की है। अभी 3 घटें पूर्व खबर आई कि बिलौआ के उफनते रपटे पर छर्च निवासी बालकृष्ण भार्गव बह गया है। इस संबंध में जब शिवपुरी समाचार डॉट कॉम ने जब थाना प्रभारी छर्च रामेन्द्र सिंह चौहान से बात की तो उन्होंने बताया कि उन्हें मामले की सूचना मिली है। वह मौके पर जा रहे है। लेकिन बारिश अधिक होने के चलते एक और रपटा चढ़ गया है। जिससे वह मौके पर नहीं पहुंच सके है। 

जब इस संबंध में पोहरी पुलिस से जानकारी लेनी चाही तो उन्होंने मामले की सूचना से ही इंकार कर दिया। उसके बाद शिवपुरी समाचार डॉट कॉम ने पुलिस अधीक्षक राजेश हिंगणकर से जानकारी चाही तो उन्होंने स्वीकार किया कि एक युवक शराब के नशे में अपने भतीजे के साथ था। भतीजे ने उसे रोकने का प्रयास किया परंतु वह नहीं रूका और पानी में चला गया। जिससे युवक बह गया। पुलिस की टीम रेसक्यू करने पहुंच रही है। 

इसी दौरान पोहरी एसडीओपी अशोक घनघोरिया ने मिडिया को बयान दिया है कि युवक के बहने की खबर झूठी है। बस से उतरे सभी लोग सुरक्षित है। बहने की खबर गलत है। तभी हमने बालकृष्ण के भतीजे विवेक भार्गव से संपर्क किया तो उन्होंने बताया कि वह बुलेरो से आए हुुए थे। पर नदी पर पानी अधिक होने से हम नदी पर रूक गए। तभी बस आई और उसमें से हमारे चाचा उतरे और उतरकर लोगों को हटाते हुए कहा कि आप हटों मुझे देखने दो। तभी वह गिर गए और नदी के तेज बहाब में बह गए। 

अब एक जिम्मेदार अधिकारी द्वारा इस तरह का बयान कहा तक सार्थक है। अगर यह खबर झूठी है तो फिर बालकृष्ण को पुलिस अभी तक सामने क्यों नहीं ला पाई है। पोहरी एसडीओपी इस मामले में बहे युवक को तलाशने के जगह इस मामले को दबाने की कोशिश क्यो कर करे है समझ से परे है। 

पुलिस अपनी कमी को छिपाने के लिए इस तरह के बयान देकर क्या साबित करना चाहती है। पुलिस इस मामले में प्रत्यक्षदर्शीयों से पूछकर रेस्क्यू करने की बजाए इस तरह की बयान जारी कर रही है।