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जिन्होंने हरिओम से उधार के रूप में 60 हजार रूपए लिए थे और जब हरिओम ने पैसों की मांग की तो दो आरोपियों ने मिलकर हरिओम की हत्या कर दी। हरिओम की लाश पंचायत भवन में हाथ बंधी हुई अवस्था में मिली थी।
पुलिस अधीक्षक मो. युसुफ कुर्रेशी ने प्रेस बार्ता में जानकारी देते हुए बताया कि हरिओम सैन पुत्र जगराम सैन उम्र 28 निवासी ग्राम मोहरा थाना कोलारस, 22 मई को रात के समय अपने घर से रहस्यमय ढंग से गायब हो गया था। अगले दिन तक भी जब हरिओम सैन घर वापस नहीं आया तो उसके परिजनों द्वारा घटना की जानकारी कोलारस थाना पुलिस को दी गई।
पुलिस ने इस मामले में गुमशुदगी दर्ज कर हरिओम की तलाश शुरू कर दी थी। इसी बीच 26 मई को मोहरा गांव के ग्रामीणों ने पुलिस को सूचना दी कि पंचायत भवन के अंदर से दुर्गंध आ रही है। पुलिस ने जब मौके पर पहुंचकर पंचायत भवन का दरबाजा खुलवाया तो अंदर का नजारा देखकर पुलिस और ग्रामीणों के होश उड़ गए थे।
पंचायत भवन के भीतर हरिओम सैन की लाश पड़ी हुई थी। मृतक के दोनों हाथ पीछे बंधे हुए थे और उसकी बाईक भी लाश के समीप ही पड़ी हुई थी। तत्समय पुलिस ने इस मामले में अज्ञात हत्यारों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी।
जांच उपरांत पुलिस ने आज हरिओम सैन के हत्यारे नीरज धाकड़, बालकदास उर्फ खुड्डा निवासीगण मोहरा को गिर$ तार कर लिया है। आरोपियों ने पूछताछ में बताया कि उन्होंने हरिओम की हत्या करने के उद्देश्य से उसे पार्टी मनाने के बहाने पंचायत भवन में बुलाया जहां रस्सी से गला दबाकर उसकी हत्या कर दी गई।
साबधानी फिर भी पकड़े गए आरोपी
नीरज धाकड़ और बालकदास गोस्वामी ने मिलकर हरिओम सैन को मौत के घाट उतारने की पूरी रणनीति तैयार की थी और इसी रणनीति के तहत उक्त दोनों युवक हाथ के ग्लब्स और रस्सी ले आये थे सामान एकत्रित करने के बाद उक्त दोनों युवकों ने हरिओम सैन को दारू मुर्गा पार्टी मनाने के लिए पंचायत भवन में फोन कर बुलाया था।
पार्टी मनाने के बाद जब हरिओम को नशा हो गया तो उक्त दोनों ने एक राय होकर हरिओम के दोनों हाथों को रस्सी से पीछे बांध दिया और फिर दूसरी रस्सी से उसका गला घोंटकर हत्या कर दी। बारदात को अंजाम देने के बाद आरोपी हरिओम की मोटरसाइकिल को उसके शव के पास खड़ा कर पंचायत भवन के पीछे के रास्ते से भाग खड़े हुए थे।
बताया जाता है कि जिस रस्सी और ग्लब्स का हत्या काण्ड में उपयोग किया था उन्हें आरोपियों ने जला दिया गया। सूत्रों का कहना तो यहां तक है कि इस पूरे अंधे हत्या काण्ड का खुलासा कॉल डिटेल के आधार हुआ है।
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