अनिश्चितकालीन पर गए अध्यापक, शिक्षण व्यवस्था ठप्प

शिवपुरी-प्रदेशभर में अपनी मांगों को लेकर सोमवार से अध्यापक, संविदा शिक्षक व गुरूजियों का सामूहिक अवकाश ले लेने से एक ओर जहां शिक्षण व्यवस्था प्रभावित हुई। वहीं दूसरी ओर कल मंगलवार को न सिर्फ विद्यालय बल्कि डाईट में चल रहा शिक्षकीय प्रशिक्षण भी प्रभावित हो गया।

फिर भी उनकी किसी भी मांग को नहीं माना गया। इस कारण आज से अध्यापकों ने अनिश्चितकालीन धरने पर बैठने का निर्णय लिया और धरने पर बैठे रहे। इन सभी अध्यापकों को मांग है कि जब तक उनकी मांगों को पूर्ण नहीं किया जाता तब तक वह अनिश्चितकालीन धरने पर रहकर विरोध प्रदर्शन करेंगें। यहां बता दें कि अभी कुछ दिनों पूर्व ही संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों ने भी अपनी मांगों को लेकर धरना प्रदर्शन कर सरकार के प्रति रोष व्यक्त किया था जहां स्थानीय कुछ भाजपा नेताओं ने जिले में बिगड़ रही स्वास्थ्य सेवाओं का हवाला देते हुए प्रदेश के मुखिया से इस ओर शीघ्र उचित निर्णय लेने का आग्रह किया जिसका परिणाम यह हुआ कि सरकार ने शीघ्र ही पंचायत बुलवाने की बात कही और इन मांगों के निराकरण का आश्वासन दिया तब कहीं जाकर संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों की हड़ताल समाप्त हुई। 

ठीक इसके अगले ही दिन अध्यापक, संविदा शिक्षक और गुरूजियों ने सरकार के गैर जिम्मेदाराना रवैये के प्रति रोष व्यक्त करते हुए अपनी मांगों को लेकर धरना शुरू कर दिया। इस संगठन को भी ऐसा प्रतीत होता है कि इनकी मांगों पर भी प्रदेश सरकार गौर करेगी और शीघ्र ही इस ओर उचित निर्णय लिया जाएगा। यहां बता दें कि इन दिनों प्रदेश में विधानसभा सत्र चल रहा है और विपक्ष ने भी अध्यापक व संविदाओं के हितों के लिए आग छेड़ दी है जहां विधानसभा में इन सबको लेकर काफी हो-हंगामा हो रहा है। अब देखना होगा कि इस ओर क्या उचित निर्णय प्रदेश सरकार द्वारा लिया जाता है हालांकि  यह वर्ष चुनावी वर्ष है ऐसे में इतना तो संभव है कि सरकार जो भी फैसला करेगी आगामी विधानसभा चुनाव को दृष्टिगत रखते हुए ही करेगी। 


...लो अधिकारी-कर्मचारियों ने भी रखी अपनी 51सूत्रीय मांगें, सौंपा ज्ञापन


मप्र अधिकारी कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति और मप्र अधिकारी कर्मचारी अध्यक्षीय मण्डल ने आज कलेक्ट्रेट पर आज अपनी विभिन्न मांगों को लेकर एक दिवसीय धरना दिया। इसके बाद अपनी मांगों का एक ज्ञापन मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को सौंपा और अपने आगामी आंदोलनों का निर्णय भी लिया गया। विदित हो कि मान्यता प्राप्त एवं गैर मान्यता प्राप्त कर्मचारी संगठनों द्वारा कर्मचारियों की लंबित मांगों का निराकरण किए जाने हेतु मप्र अधिकारी कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति और मप्र अधिकारी कर्मचारी अध्यक्षीय मण्डल द्वारा बल्लभ भवन के समक्ष दो बार प्रदर्शन कर चुके हैं फिर भी केन्द्र के समान छठवां वेतनमान देने का आश्वासन दिया गया था। लेकिन आज तक छठवां वेतनमान नहीं दिया गया है और उनकी मांगों का भी निराकरण नहीं किया गया है। इस कारण यह धरना प्रदर्शन संगठनों द्वारा दिया गया और अपनी सभी 51 मांगों को मनवाने के लिए ज्ञापन भी कलेक्टर को सौंपा।