बेपर्दा हुए अतुल सिंह: महल विरोधी हैं इसलिए सिंधिया को काला झंडा दिखाया | Shivpuri samachar

ललित मुदगल/शिवपुरी। सांसद सिंधिया के दौरे में कई खबरों का जन्म हुआ, लेकिन उनके दौरे के बाद एक नया बाबल सामने आ गया हैं। कांग्रेस ने आरोपो के साथ सबूत भी छोड़े हैं। करणी सेना के प्रदेश संयोजक अतुल सिंह ने सांसद सिंधिया को काले झण्डे दिखा कर एससी-एसटी एक्ट का विरोध किया था। कांग्रेस ने तत्काल आरोप भी लगा दिए थे कि यह कार्य भाजपा की देन हैं और शिवपुरी समाचार डॉट कॉम ने प्रकाशित भी किया था लेकिन अब कांग्रेस नेता और बदरवास के जनपद उपाध्यक्ष रामवीर सिंह यादव ने ठोक कर दावा किया हैं कि हमारे सांसद को अतुल सिंह और गोपाल श्रीवास्तव द्वारा काले झण्डे दिखाने का जो कार्य किया है वह भाजपा की सोची-समझी रणनीति का हिस्सा हैं। 

अतुल सिंह भाजपा के पदाधिकारी रहे हैं और गोपाल श्रीवास्तव भाजपा आईटी सेल के सहसंयोजक हैं। यादव का कहना है कि हमारे सांसद सिंधिया की लोकप्रियता के कारण भाजपा डर रही हैं। एक्ट को संशोधित भाजपा ने किया हैं। अब यह एक्ट उसकी गले की फांस बन गई हैं। भाजपा किसी भी तरह हमारे बेदाग छवि वाले श्रीमंत की छबि को दागदार करना चाहती हैं, क्योंकि भाजपा जानती हैं कि आगे आने वाले चुनावों में मप्र की पूरी भाजपा पर हमारे श्रीमंत भारी पड़ने वाले हैं।

अतुल सिंह तो महल विरोधी ही हैं
अतुल सिंह की राजनीति भाजपा के उन नेताओ के साथ शुरू हुई हैं, जो महल विरोधी हैं। अतुल सिंह की फैसबुक आईडी पर सबसे ज्यादा महल विरोध की राजनीति के गर्भ से जन्मे प्रदेश सरकार के मंत्री जयभान सिंह पवैया और केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर के फोटो शेयर हुए हैं। यह खेमा सांसद सिंधिया के साथ भाजपा की प्रदेश मंत्री यशोधरा राजे सिंधिया का भी विरोधी माना जाता हैं। 

भाजपा ने कहा कि अतुल सिंह निष्क्रिय कार्यकर्ता हैं
भाजपा शिवपुरी जिलाअध्यक्ष सुशील रघुवंशी का कहना हैं कि अतुल सिंह पिछले 5 साल से भाजपा के निष्क्रिय कार्यकर्ता् हैं, अभी वे किसी पद पर नही हैं, काले झण्डे दिखाने का काम उनका पर्सनल हैं भाजपा का इसमें कोई—लेना देना नही हैं।

अब अतुल सिंह के लिए भी 2 शब्द
हम सांसद सिंधिया को काले झण्डे दिखाने को विरोध नही करते, देश मेें लोकत़ंत्र है और इस लोकत़ंत्र में विरोध करने का सबको अधिकार हैं। कहते हैं कि सफाई घर से शुरू होती हैं और भाजपा उनका पहला घर हैं। अतुल सिंह को सांसद सिंधिया को काले झण्डे दिखाने से पूर्व भाजपा के नेताओ को काले झण्डे दिखाने का काम करते तो ज्यादा सराहनीय होता। 

अगर वे एससी-एसटी एक्ट से इतने आहत हैं तो उन्हे प्रेस वार्ता कर सबसे पहले भाजपा की प्राथमिक सदस्यता से त्यागपत्र देना था और फिर सबसे पहले भाजपा नेताओं को काले झण्डे दिखाने का कार्य करते तो यह आरोप उन पर नही लगते। अतुल सिंह को इस मामले मेे कोई प्रतिक्रिया देना हैं तो शिवपुरी समाचार डॉट कॉम पर उनका स्वागत हैं।