शिवपुरी। नगरपालिका की निष्क्रियता के चलते गांधी पार्क के कोने पर धर्मचंद जैन के मकान के पास सीवर का गड्ढा खुला पड़ा हुआ है। इसी के कारण आज एक सांड उक्त गड्ढे में गिर पड़ा और उसकी जान के लाले पड़ गये।
वार्ड पार्षदपति पूर्व पार्षद संजय गुप्ता की संवेदनशीलता के कारण एक घंटे की मेहनत के पश्चात सांड को गड्ढे से बाहर निकाला गया और उसकी जान बच सकी, लेकिन स्थानीय निवासियों का कहना है कि नगरपालिका के सहयोग के लिये उन्होंने नपाध्यक्ष मुन्नालाल कुशवाह को अनेकों बार मोबाइल लगाये, लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया।
इन दिनों नपाध्यक्ष मुन्नालाल कुशवाह शहरभर में संवाद से किनारा करने के कारण जाने जा रहे हैं। इसी का वीभत्स स्वरूप आज न्यूब्लॉक के नागरिकों ने देखा।
दोपहर 12 बजे के लगभग इस इलाके में सीवर लाइन के खुले गड्ढे मेें एक सांड गिर गया। लगभग 7 फिट से अधिक इस गहरे गड्ढे में वह काफी देर तक पड़ा रहकर चिल्लाता रहा। उसकी आवाज सुनकर पार्षद पति संजय गुप्ता सहित अनेक लोग एकत्रित हो गये और फिर बचाव का प्रयास शुरू हो गया।
रस्सी की मदद से अनेक बार उसे निकालने का प्रयास किया, लेकिन जैसे ही उसे खींचकर ऊपर लाया जाता वैसे ही संतुलन बिगडऩे के कारण वह पुन: गड्ढे में चला जाता इससे सांड की हालत काफी खराब हो गई।
उसका शरीर लहुलूहान हो गया और वह लगभग अद्र्धमूर्छित स्थिति में पहुंच गया, लेकिन अंतत: नागरिकों के प्रयास रंग लाये और एक घंटे पश्चात उक्त सांड को गड्ढे से बाहर निकाला गया। इसके पश्चात लोग नगरपालिका को कोसते हुए नजर आये।
नपा को नहीं चला पा रहे मुन्नालाल
लगभग दो माह में ही नपाध्यक्ष की निष्क्रिय कार्यप्रणाली के दीदार होने लगे हैं। उनका अधिकारियों पर नियंत्रण नहीं है, वहीं शहर में समस्याएं गहराई रहीं हैं। खासकर जल संकट से जनजीवन त्रस्त बना हुआ है। नपाध्यक्ष कहां रहते हैं इसका पता उनके निकट के लोगों को भी नहीं रहता है।
उनके चेहरे पर छाई रहने वाली चिरपरिचित मुस्कुराहट गायब हो गई है और नपाध्यक्ष के दायित्व के बोझ से वह अपने आपको मुक्त नहीं कर पा रहे। जनता से संवाद करने में भी उनकी कोई रुचि नहीं दिख रही है और उनके बारे में आम शिकायत है कि उन्होंने मोबाइल उठाना बंद कर दिया है।