परीक्षा की कमान नेहा मारव्या के हाथों में, रातों रात हो गया गेम

सतेन्द्र उपाध्याय, शिवपुरी। जिले में कल से प्रारंभ हो रहे बोर्ड परीक्षाओं के महाकुंभ को लेकर नकल माफियाओं ने कमर कस ली है। इस महाकुंभ की जिम्मेदारी कलेक्टर ओपी श्रीवास्तव ने आईएएस नेहा मारव्या को सौंपी है। जिसे लेकर नकल माफिया अपनी-अपनी गोटी बिठाने में जुट गए है। इस मामले में नकल माफिया कामयाब भी हो गए है। इन नकल माफियाओं की जुगाड के चलते जिले के अति संबेदनशील परीक्षा केन्द्र बैराड़ में दो सीएस को रातों रात बदलने की खबर आ रही है। अभी इसकी अधिकारिक पुष्टि नहीं हो पाई है। 

विदित हो कि बैराड़ कस्बे में स्थिति विजयानंद उच्चतर माध्यमिक विद्यालय और लखेश्वर स्कूल के परीक्षा केन्द्र क्रमश: गोवर्धन और कन्या शाला बैराड़ में रहते है। इन दोनो स्कूल के प्रबंधक छात्रों के भविष्य से खिलबाड़ करते हुए परीक्षा मेंं नकल की गारंटी लेकर छात्रों को ठसाठस भर लेते है और उसके बाद अपने नकल के इरादों को कामयाब करने के लिए किसी भी हद तक जाने में जुट जाते है। 

उक्त नकल माफियाओं पर राजनैतिक पकड़ होने के चलते यह अपने हिसाब का स्टाफ परीक्षाओं में तैनात करा देते है और सरे आम छात्रों के भविष्य से खिलवाड़ करते हुए अपने मंसूबों में कामयाब हो जाते है। बताया गया है उक्त नकल माफिया जिले में बैठे आला अधिकारीयों को भी ठेंगा दिखा देते है। बीते वर्ष भी इन नकल माफियाओं ने इन परीक्षा केन्द्रों पर तैनात सीएस पर शिक्षा विभाग ने कार्यवाही करते हुए सस्पेंड कर दिया था। पर राजनैतिक पकड़ होने के चलते उक्त सीएस को तत्काल बहाल भी शिक्षा विभाग को करना पड़ा। 

ऐसे देते है नकल को अंजाम
यह नकल माफिया सबसे पहले तो अपने सेंटरों पर तैनात सीएस और परीक्षा केन्द्रों में डयूटी कर रहे शिक्षकों को प्रलोभन देकर नकल कराने और बच्चों के भविष्य का प्रलोभन देकर अपने पक्ष में कर लेते है। उसके बाद यह शिक्षक पेपर में आये ओटी का नंबर अपने अपने कक्ष में पहुंचवा देते है और सार्वजनिक तौर पर ओब्जेक्ट टाइप सवालों को हल करा देते है।

उसके बाद उक्त ओटी खत्म हो जाने के बाद इन स्कूल के प्रायवेट टीचरों को सीएस अंदर जाने की परमीशन दे देते है और सरे आम इन स्कूलों में छात्रों को बोल कर प्रश्न पत्र हल कराते है। यह सब मीडिया की आखों के आगे होता है क्योंकि मीडिया को परीक्षा केन्द्रों मे जाने की परमीशन प्रशासन नही देता और मीडिया के सामने ही उक्त प्रायवेट टीचरों को परीक्षा केन्द्रों में अंदर जाने की एनओसी दे देता है। 

परीक्षा केन्द्रों में सरेआम घूमते-आते जाते के फोटों भी मीडिया कई बार प्रकाशित कर चुका है परंतु इन नकल माफियाओं के सामने प्रशासन मौन बना रहता है।