राजे से नाराज माखन मौसा, नही पहुंचे जन्मदिन के कार्यक्रम में

शिवपुरी। खबर आ रही है कि अपने माखन मौसा अब यशोधरा राजे से नाराज हो गए है। कारण, आज राठौर समाज द्वारा ​​शिवपुरी विधायक और केबिनेट मंत्री यशोधरा राजे सिंधिया का जन्मदिन सेवा कार्य कर मनाया था। इस कार्यक्रम में माखन लाल को आमंत्रित भी किया था लेकिन वह नही पहुंचे है। बताया जा रहा है कि पहली बार राठौर समाज ने स्थानीय विधायक और प्रदेश सरकार की मंत्री यशोधरा राजे सिंधिया का जन्म दिवस सेवा कार्य कर मनाने का निर्णय लिया। राठौर समाज को इस आयोजन में जोडऩे में भाजपा नगर महामंत्री हरिओम राठौर की अहम भूमिका रही। हरिओम राठौर पूर्व विधायक माखनलाल राठौर के अनुयायी रहे हैं।

अपने सूत्रो का कहना है कि पूर्व विधायक माखन लाल राठौर भाजपा के पिछडा वर्ग प्रकोष्ठ के जिला अध्यक्ष बनने की मांग कर रहे थे,लेकिन उनकी इस मांग को स्वीकार नही किया गया है इस कारण वह यशोधरा राजे सिंधिया से नाराज हो गए। इस कारण उन्होने इस कार्यक्रम की दूरी बनाई। 

लेकिन अपने माखन मौसा यह भूल गए कि उनके राज​नैतिक सफर का श्रीगणेश कराने वाली यशोधरा राजे सिंधिया ही है। जो आदमी अपने मोहल्ले का पार्षद नही बन सकता था उसको शिवपुरी नपा अध्यक्ष बनाया और विधायक बनने की तो माखन मौसा ने भी नही सोची होगी।

माखन मौसा को भाजपा से अपने दम पर ​टिकिट दिलवाया। इतने भीष्ण संग्राम में जहां माखन मौसा की गिनती चौथे नंबर पर हो रही थी वहां माखन मौसा को ​विजयश्री का वरण कराया। इस चुनाव में यशोधरा राजे ने अपनी पूरी ताकत झोक दी और अपने पुत्र अक्षय को शिवपुरी की गली—गली भी घूमवा दिया था। कुल मिलाकर दोनो चुनाव माखन लाल राजे की कृपा से ही जीते थे। 

इतने सारे बडे-बडें एहसानो को भूलकर एक छोटी सी बात पर माखन मौसा राजे से नाराज हो गए और राजे के जन्मदिन के प्रोग्राम में नही पहुंचे। जिसे उनके समाज ने ही सम्पन्न कराया। अपने राम का तो इस मामले में यही कहना था कि कम से कम माखन मौसा को कुछ तो राजे के एहसान याद रखने चाहिए। चलो एक बार मान भी लेते है कि यशोधरा राजे से माखन मौसा खफा हो गए। लेकिन समाज की उपेक्षा भी नही करनी चाहिए। 

इनका कहना है
सर्किट हाउस पर आज प्रदेश सरकार की मंत्री अर्चना चिटनिस से मिलने पूर्व विधायक माखनलाल राठौर गए थे। उस समय भाजपा नेता डॉ राकेश राठौर ने उन्हें राठौर समाज के यशोधरा राजे के जन्मदिवस के अवसर पर सेवा कार्य किए जाने से अवगत कराया और अनुरोध किया कि वह भी इस आयोजन में जुडक़र उसे गरिमा प्रदान करें। 

माखनलाल जी ने तब कहा था कि मैं देखूंगा कि मुझे आना है या नहीं। यशोधरा राजे के उन पर इतने उपकार हैं जिसे वह कभी चुका नहीं सकते। यदि उन्हेंं आमंत्रित भी नहीं किया गया होता और उन्हें कार्यक्रम की जानकारी होती तो भी उन्हें यशोधरा राजे का जन्म दिवस समाज सेवा कर राठौर समाज के निर्णय में साथ निभाना था। 
मानकचंद राठौर