करैरा। जिले के करैरा थाने में आग लगाने की धमकी देने के बाद से विबादों में घिरी कांग्रेस विधायिका की मुसीबतें कम होने का नाम हीं नहीं ले रही कि एक और मुसीबत विधायिका को घेर सकती है और वह है अपनों का साथ। करैरा की कांग्रेस विधायक शकुंतला खटीक की के विरूद्ध थाने में आग लगाने की धमकी देने, शासकीय कार्र्य में बाधा पहुंचाने आदि का मामला दर्ज किया गया है वहीं कांग्रेस ने भी उनके विरूद्ध कार्यवाही करने के संकेत दिए हैं।
जिला कांग्रेस के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने अपना नाम न छापने की शर्र्त पर बताया कि चूंकि श्रीमती खटीक विधायक हैं इसलिए उनके विरूद्ध प्रदेश कांग्रेस ही नोटिस जारी कर उनसे उनका पक्ष जानेगी लेकिन जिस तरह के समाचार आ रहे हैं उससे कांग्रेस शकुंतला खटीक से खुश नहीं है और पार्टी का मानना है कि करैरा घटनाक्रम से कांग्रेस को अपमान का सामना करना पड़ा है।
विदित हो कि आठ जून को करैरा बंद के दौरान जलते पुतले को फायर बिग्रेड की बौछार से जब पुलिस ने बुझाने का प्रयास किया तो उस समय पानी श्रीमती खटीक के कपड़ों पर जा गिरा और उससे उनका पारा आसमान पर पहुंच गया।
उन्होंने आरोप लगाया कि करैरा टीआई संजीव तिवारी ने जानबूझ कर उन पर पानी गिरवाया। इसके बाद उन्होंने अपने समर्थकों को थाने में आग लगाने के लिए उकसाया। गुस्साई शकुंतला खटीक ने टीआर्ई के साथ झूमाझटकी की और यह भी धमकी दी कि तीन दिन में टीआई के न हटने पर वह पुलिस प्रशासन को ऐसा अंजाम देंगी। जिसकी उन्होंने कल्पना भी नहीं की होगी।
उक्त समस्त घटनाक्रम के वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गए थे। जिससे विधायक खटीक के खिलाफ कार्यवाही करने का दवाब बढऩे लगा। उन पर फौजदारी मामला कायम करने तथा उनकी रिफ्तारी के लिए शिवसेना और भाजपा ने भी ज्ञापन दिया।
इस संपूर्ण घटनाक्रम से कांग्रेस पार्टी खुद कठघरे में खड़ी हो गई और भाजपा ने आरोप लगाया कि किसान अंादोलन के पीछे कांग्रेस का षड्यंत्र हैं। करैरा घटनाक्रम को लेकर कांग्रेस को राष्ट्रीय स्तर पर सफाई पेश करनी पड़ी लेकिन विधायक खटीक के खिलाफ हिंसा भडक़ाने और अभद्र व्यवहार करने तथा शासकीय कार्र्य में बाधा पहुंचाने के आरोप इतने प्रगाढ़ थे कि कांग्रेस चाहते हुए भी उनका बचाव करने की स्थिति में नहीं रही।
बल्कि उनके कारण कांग्रेस पर भी कीचड़ उछलने लगी। इस कारण सूत्र बताते है कि कांग्रेस ने भी न चाहते हुए भी उनके खिलाफ कार्यवाही का मन बना लिया है। जिला कांग्रेस के एक पदाधिकारी ने बताया कि अपने खराब व्यवहार से श्रीमती खटीक नेेे कांग्रेस के लिए एक नई मुश्किल पेश कर दी है। पार्टी में बहुत से लोग उन्हें बाहर निकालने का भी दवाब बना रहे हैं। परन्तु नोटिस देकर उनसे सफाई अवश्य मांगी जाएगी।
कांग्रेस टिकिट के दावेदारों को मिला मौका
श्रीमती खटीक की मुश्किलों से कांग्रेस टिकिट के वे दावेदार अवश्य प्रसन्न हैं। जो करैरा से 2018 के चुनाव में पार्टी की उम्मीदवारी के आकांक्षी हैं। चुनाव के लगभग एक साल पहले श्रीमती शकुंतला खटीक की छवि जिस तरह से धूल धूसरित हुई है उससे तय लग रहा है कि 2018 में उनका टिकिट कटना तय है। ऐसी स्थिति में करैरा से कांग्रेस के लगभग एक दर्जन दावेदार सक्रिय हो गए हैं।
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