सिंधिया इफेक्ट: 9 सूअर पालकों के खिलाफ दर्ज होगी FIR

शिवपुरी। शिवपुरी प्रवास पर आई वाणिज्य उद्योग मंत्री यशोधरा राजे सिंधिया जब नगरागमन के बाद कई कार्यक्रमों में शामिल होने गई तो उनकी नजर शहर में इधर-उधर घूम रहे सूअरों के झुण्ड पर उनकी नजर गई, हालांकि नपा ने यशोधरा के आगमन और उनके काफिले के मार्ग से संभवत: सभी सूहर हटाने की मंशा की थी लेकिन इसके बाद भी यशोधरा की नजरों में सूअर चहलकदमी आ ही गई जिससे तन्नाई यशोधरा ने अपना क्रोध नपाध्यक्ष श्रीमती रिशिका अष्ठाना पर उतारा और उनसे कई सवाल जबाब भी किए लेकिन वह कोई सटीक जबाब नहीं दे सकी

हालांकि उन्होंने यह जरूर कहा कि एक ट्रक सूअर शहर से बाहर भेज दिए गए है और भी बाहर भेजेंगें लेकिन इस जबाब पर यशोधरा संतुष्ट नजर नहीं आई और उन्होंने नपा के अधिकारियों को भी जमकर लताड़ लगाई। परिणामस्वरूप 9 सूअर मालिकों पर एफआईआर दर्ज की जाएगी।   

शहर की समस्या बन चुके सूअरों को खदेडऩे के लिए 6 फरवरी को अनुविभागीय दण्डाधिकारी न्यायालय के फैसले और स्थानीय विधायक और प्रदेश सरकार की उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री यशोधरा राजे के शिवपुरी आगमन पर अधिकारियों की लताड़ के बाद नपा अधिकारियों ने 9 सूअरपालकों के नाम एफआईआर के लिए पुलिस को दिए हैं। जिनमें 6 सूअरपालकों के खिलाफ कोतवाली में मामला दर्ज हुआ और 3 सूअरपालकों की एफआईआर देहात थाने में होगी। 

विदित हो कि प्रदेश सरकार की उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री यशोधरा राजे की रूचि के बावजूद और उनके कड़े निर्देश के बाद भी नगरपालिका का सूअर हटाओ अभियान असर नहीं दिखा पाया। नगरपालिका ने सूअरपालकों को बेदखल करने के लिए एसडीएम न्यायालय की ओर पूरे मामले को डायवर्ट कर दिया।  6 फरवरी को अनुविभागीय दण्डाधिकारी द्वारा डीके जैन ने अपना फैसला सुनाते हुए नगरपालिका को आदेशित किया कि वह सूअरों को जिले की सीमा से बाहर करें और इस कृत्य में व्यवधान उत्पन्न करने वाले तथा सूअरों पर मालिकाना हक जताने वाले सूअरपालकों के खिलाफ भादवि की धारा 188 के तहत रिपोर्ट दर्ज कराएं, लेकिन इस फैसले के बाद भी नगरपालिका प्रशासन नहीं चेता, लेकिन हाल ही में उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री के शिवपुरी दौरे पर अधिकारियों को लगी लताड़ के बाद मुहिम में सक्रियता नजर आई और आनन-फानन में 9 सूअरपालकों के नाम कोतवाली देहात थाने में एफआईआर के लिए दे दिए हैं। 

नगरपालिका के स्वास्थ्य अधिकारी अशोक शर्मा ने जानकारी देते हुए बताया कि नगरपालिका द्वारा सूअरों की खेप ट्रकों में भरकर भेजे जाने का क्रम में लगातार जारी है और जो सूअर पालक सूअर पकडऩे की मुहिम में व्यवधान उत्पन्न कर रहे हैं। उन सूअरपालकों के खिलाफ न्यायालय के  आदेश के बाद एफआईआर कराई जा रही है। जिनमें 9 सूअरपालक शामिल हैं। इससे पहले नगरपालिका में पदस्थ कर्मचारी जो सूअरपालक हैं। उन पर कार्रवाई भी की गई और शीघ्र ही शहर से सूअरों को हटा दिया जाएगा। 

अभी हाल ही में कांग्रेस नेता अजय गुप्ता सहित कई नागरिकों ने सूअरो के  सड़कों पर निश्छंद विचरण के कारण गिरकर घायल हो चुके हैं। लेकिन इसके बावजूद भी सूअरों को शहर से बाहर करने के लिए आवाज नहीं उठा सका। जबकि विपक्षी पार्टी कांग्रेस ने इस समस्या को खत्म करने के लिए अपनी आवाज बुलंद नहीं की है, लेकिन शहर की जनता के दर्द को स्थानीय विधायक यशोधरा राजे ने महसूस किया और विधायक बनने के बाद अपना प्रथम लक्ष्य शहर को सूअरविहीन करने का निर्धारित किया और उनकी यह मुहिम धीरे-धीरे कारगार भी होती नजर आ रही है।