पुलिसिया संरक्षण में चल रहा जुआअड्डा पकड़ा, SI, ASI व तीन सिपाही लाइन हाजिर

शिवपुरी-जिले के खनियाधाना क्षेत्र में बीती रात्रि पुलिस अधीक्षक डॉ.महेन्द्र सिंह सिकरवार के निर्देश पर अति.एसपी आलोक सिंह व एसडीओपी संजय अग्रवाल एक टीम बनाकर खनियाधाना पहुंचे और यहां मुशाक मोहल्ले में मुखबिर की सूचना पर जुआरियों के फड़ संचालित होना पाया जिसमें पुलिस ने मौके से ही 7 जुआरियों को पकड़कर उनसे 2 लाख 1 हजार 570 रूपये की राशि व 8 मोबाईल जब्त किए है।
एसपी ने बताया कि जिस मुशाक मोहल्ले में यह जुआ चल रहा था वहां के मकान मालिक कुलदीप सिंह चौहान के विरूद्ध भी कार्यवाही की जाएगी साथ ही इस मामले में पुलिस की संलिप्तता पर भी ऊंगली उठाई गई जिस पर एस पी ने पाया कि खनियाधाना में चल रहे इस जुऐ की खबर से अनिभज्ञ पुलिस की कार्यवाही भी लापरवाही अथवा संलिप्तता का परिणाम है ऐसे में यहां एक एसआई, एक ए एसआई व दो सिपाहियों को लाईन अटैच किया गया है जिसकी जांच की जाएगी।

जानकारी के अनुसार बीती रात्रि को मुखबिर की सूचना पर एसपी को जानकारी लगी कि खनियाधाना में मुशाक मोहल्ले में लाखों रूपये का जुआ चल रहा है। इस सूचना पर तुरंत एड.एसपी आलोक सिंह व एसडीओपी संजय अग्रवाल एक टीम बनाकर खनियाधाना पहुंचे और रात में ही बताए गए स्थान पर पुलिस ने दबिश दी। जिस पर मौके से 7 जुआरियों को हार-जीत का दांव लगाते हुए पकड़ा। 

पकड़े गए लोगों में राजेश गोयल, संगीत पुत्र हनुमंत चौहान, सुनील पुत्र स्वरूप सोनी, विकास, हरिशंकर व अन्य दो लोग और शामिल थे इनके पास से पुलिस ने 2 लाख 1 हजार 570 रूपये की राशि बरामद की। जिस जगह यह जुआ चल रहा था वहां के मकान मालिक कुलदीप सिंह चौहान के विरूद्ध भी पुलिस कार्यवाही करेगी। 

एसपी ने इस मामले में पुलिस की संलिप्तता व लापरवाही पर उठ रहे सवालों को विराम देते हुए एक एसआई सीताराम कुशवाह व एक एएसआई शिवराज भदौरिया व दो पुलिस के सिपाहियों को लाईन अटैच किया गया है। जिनकी जांच होने पर अगर दोषी पाए गए तो संंबंधितों के विरूद्ध कार्यवाही की जाएगी। बताया गया है कि खनियाधाना के इस मुशाक मोहल्ले में बीते लंबे समय से जुए का फड़ संचालित हो रहा था और स्थानीय पुलिस को जानकारी होने के बाद भी कार्यवाही ना होना पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान लगा रहा था ऐसे में स्वयं पुलिस अधीक्षक डॉ.महेन्द्र सिंह सिकरवार इस मामले को गंभीरता से लिया और जांच के लिए अति.एसपी आलोक कुमार व संजय अग्रवाल को भेजकर इस कार्यवाही को अंजाम दिया।