पुलिस ने अनपढ़ की FIR ही पलट डाली

शिवपुरी-वर्तमान समय में स्वयं का जनता का सजग प्रहरी कहने वाली पुलिस इन दिनों अपने कारनामों को इस तरह अंजाम दे रहे है कि स्वयं पुलिस वाला पुलिस होने पर भी शर्मिंदा हो। हुआ यूं कि जिले के सुरवाया थाना क्षेत्र में पुलिस ने एक अनपढ़ व्यक्ति की अशिक्षित होने का फायदा उठाया।

यहां पुलिस ने मुकेश पुत्र रंग लाल सोनी उम्र 40 वर्ष निवासी जवाहर कॉलोनी शिवपुरी हाल निवासी सुरवाया की रिपोर्ट पर स्वयं की पत्निी के अपहरण की सूचना पुलिस में दर्ज कराई थी लेकिन सुरवाया पुलिस के रिपोर्ट दर्ज करने वाले पुलिस कर्मचारी ने मुकेश की रिपोर्ट पर अदम चैक काटते हुए इसे स्वयं की मर्जी से किसी अन्य व्यक्ति के साथ पत्नी का जाना लिखा हुआ दर्ज किया। 

चूंकि मुकेश अशिक्षित था इसलिए वह पढ़ तो ना सका लेकिन पुलिस ने जो लिखा उसे घुमा फिराकर मुकेश को पढ़कर सुना दिया। यहां बताया गया है कि पुलिस इस मामले को स्वयं दबाना चाहती है यही वजह है कि मुकेश की पत्नी का अपहरण करने वाले आरोपी को रजामंदी से उसकी पत्नि के साथ जाना बताया गया। यह घटना बीते 30 नवम्बर की है जब मुकेश अपनी पत्नी के अपहरण की घटना की रिपोर्ट दर्ज कराने सुरवाया थाना पहुंचा। जबकि वास्तविकता में मुकेश की पत्नि कल्लू पुत्र पंजाब सिंह गुर्जर निवासी सुरवाया के पास होना बताई गई है।

यह देखे जो मुकेश ने अपनी रिपोर्ट दर्ज कराई और पुलिस ने क्या लिखा-


मैं मुकेश पुत्र रंगलाल सोनी उम्र 40 वर्ष निवासी जवाहर कॉलोनी शिवुरी हाल निवासी सुरवाया यह रिपोर्ट मैं अपनी मॉं मुन्नी बाई सोनी के साथ थाने में आकर सूचित करता है कि 30 नवम्बर की रोज मैं और मेरी मॉं मुन्नी बाई दुकान का सामान लेने शिवपुरी गए थे तब ग्राम सुरवाया में मेरी पत्निी सविता घर में नहीं है मेरी पत्निी सविता सोनी उम्र 32 वर्ष पता चला कि बल्लू गुर्जर के साथ स्वेच्छा से कहीं चली गई है रिपोर्ट कराता हॅंू।

इस तरह यह रिपोर्ट तो मुकेश ने दर्ज कराई लेकिन पुलिस ने अदम चैक काटते हुए इस पूरे मामले में स्वयं को पाकसाफ बताते हुए इसे पत्नी की रजामंदी के साथ भाग जाना दर्शाया गया। पुलिस की यह घोर लापरवाही आमजन के लिए परेशानी का सबब है और पुलिस विभाग की नाक इस तरह के कारनामों से कटती नजर आती है। यदि अशिक्षित होने का यही लाभ उठाना है तो धिक्कार है ऐसी पुलिस पर जो आमजन की सेवा का दम्भ भरती है। ऐसे में स्वयं पुलिस अधीक्षक को इस पूरे मामले में हस्तक्षेप कर संबंधित पुलिस कर्मचारियों के विरूद्ध सख्त कार्यवाही करनी होगी।